गौरा कन्याधन योजना, उत्तराखंड: छात्राओं को वित्तीय सहायता प्रदान करना जिससे उच्च शिक्षा को बढ़ावा दिया जा सके और उनका कल्याण सुनिश्चित किया जा सके।
उत्तराखंड सरकार ने वर्ष २०१७ में गौरा कन्याधन योजना शुरू की थी। यह योजना एससी, एसटी, ईडब्ल्यूएस और बीपीएल श्रेणियों की छात्राओं के कल्याण के लिए शुरू की गई है। इस योजना के तहत, छात्राओं को शिक्षा के उद्देश्य से वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। इस योजना का उद्देश्य राज्य में लड़कियों की शिक्षा को बढ़ावा देना है। इसका उद्देश्य लड़कियों को उनके भविष्य को मजबूत करने के लिए सशक्त बनाना है। २४ अगस्त, २०२१ को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने घोषणा की कि योजना के तहत लंबित अनुदान जल्द ही स्वीकृत किए जाएंगे। लगभग ३३,२१६ लड़कियों को आर्थिक सहायता मिलेगी। राज्य सरकार योजना के तहत अनुदान के प्रावधान के लिए लगभग ४९.४२ करोड़ रुपये जारी करेगी।
अवलोकन:
योजना का नाम | गौरा कन्याधन योजना |
योजना के तहत | उत्तराखंड सरकार |
साल की शुरुआत | २०१७ |
लाभार्थी | राज्य में एससी, एसटी, ईडब्ल्यूएस, बीपीएल परिवारों की कक्षा १२वीं की छात्राएं |
लाभ | वित्तीय सहायता |
उद्देश्य | छात्राओं को वित्तीय सहायता प्रदान करना जिससे उच्च शिक्षा को बढ़ावा दिया जा सके और उनका कल्याण सुनिश्चित किया जा सके। |
आधिकारिक पोर्टल | escholarship.uk.gov.in |
उद्देश्य और लाभ:
- योजना का मुख्य उद्देश्य राज्य में बालिका शिक्षा को बढ़ावा देना है।
- इस योजना के तहत अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, ईडब्ल्यूएस और बीपीएल श्रेणियों से संबंधित इंटरमीडिएट कक्षा की सभी छात्राओं को शामिल किया जाएगा।
- यह योजना छात्रों को उच्च अध्ययन के लिए अपने खर्चों को पूरा करने में मदद करेगी।
- सहायता छात्रों को वित्तीय बाधाओं के बिना उच्च अध्ययन करने के लिए प्रोत्साहित करेगी।
- इस योजना के तहत राज्य की छात्राओं को इंटरमीडिएट परीक्षा उत्तीर्ण करने पर ५२,००० रुपये की वित्तीय सहायता प्रदान की जाएगी।
- प्रदेश में बालिकाओं को ११ हजार रुपये की अनुदान राशि भी प्रदान की जाएगी।
- इसका उद्देश्य लड़कियों की वित्तीय कठिनाइयों के बावजूद उनका कल्याण सुनिश्चित करना है।
- यह लड़कियों को सशक्त बनाएगा और उन्हें भविष्य में स्वतंत्र रूप से खड़े होने में सक्षम बनाएगा।
पात्रता:
- इस योजना का लाभ केवल लड़कियां ही उठा सकती हैं।
- आवेदक उत्तराखंड राज्य का स्थायी नागरिक होना चाहिए।
- अनुसूचित जाति / अनुसूचित जनजाति / ईडब्ल्यूएस / बीपीएल श्रेणियों से संबंधित कक्षा १२ का छात्र होना चाहिए।
- आयु २५ वर्ष से कम होनी चाहिए।
- ग्रामीण क्षेत्रों में आवेदक के परिवार की वार्षिक आय १५,९७६ रुपये से कम होनी चाहिए।
- शहरी क्षेत्रों में आवेदक के परिवार की वार्षिक आय २१,२०६ रुपये से कम होनी चाहिए।
योजना विवरण और आवेदन प्रक्रिया:
- गौरा कन्याधन योजना उत्तराखंड सरकार द्वारा २०१७ में राज्य में छात्राओं के कल्याण को सुनिश्चित करने के लिए शुरू की गई है।
- इस योजना के तहत राज्य सरकार अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, ईडब्ल्यूएस और बीपीएल श्रेणियों की छात्राओं को वित्तीय सहायता प्रदान करती है।
- इस वित्तीय सहायता का उद्देश्य छात्रों को वित्तीय कठिनाइयों के बावजूद उच्च अध्ययन करने के लिए प्रोत्साहित करना है।
- राज्य सरकार इंटरमीडिएट कक्षा में सभी छात्राओं को यह सहायता प्रदान करती है।
- इच्छुक उम्मीदवार आधिकारिक पोर्टल @escholarship.uk.gov.in के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं
- वेबसाइट पर जाएं, गौरा देवी कन्याधन योजना के लिए उपलब्ध लिंक पर क्लिक करें।
- विवरण के माध्यम से जाएं और उसके द्वारा उपलब्ध आवेदन पत्र डाउनलोड करें।
- आवश्यक विवरण भरें।
- आवश्यक दस्तावेजों के साथ विधिवत भरा हुआ फॉर्म संबंधित प्रखंड विकास अधिकारी को जमा करें।
- आवेदन पत्र का सत्यापन किया जाएगा और योग्य आवेदनों को मंजूरी दी जाएगी।
- इसी पोर्टल के माध्यम से स्कूल इस योजना के तहत अपना पंजीकरण करा सकते हैं।
- २४ अगस्त, २०२१ को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने घोषणा की कि योजना के तहत लंबित अनुदान जल्द ही स्वीकृत किए जाएंगे।
- वित्तीय वर्ष २०१५-१६ की लगभग ११,४०० बालिकाओं तथा वित्तीय वर्ष २०१६-९७ की २१९१६ बालिकाओं को अभी तक लाभ नहीं मिल पाया है।
- कुल मिलाकर लगभग ३३,२१६ लड़कियों को आर्थिक सहायता मिलेगी।
- राज्य सरकार योजना के तहत अनुदान के प्रावधान के लिए लगभग ४९.४२ करोड़ रुपये जारी करेगी।